यूपीएससी परीक्षा को देश की सबसे कठिन और सम्मानजनक परीक्षा का दर्जा दिया जाता है, जिसे पास करने के लिए लाखों अभ्यर्थी हर साल मेहनत करते हैं. लेकिन बस चुनिंदा अभ्यर्थियों को ही सफलता मिल पाती है. कुछ उम्मीदवार पहले प्रयास में ही सफल हो जाते हैं, जबकि कुछ को यूपीएससी परीक्षा पास करने में सालों लग जाते हैं. आज हम आपको एक ऐसी ही महिला के बारे में बता रहे हैं जिसने बहुत ही मुश्किल परिस्थितियों में यूपीएससी परीक्षा दी और पास की.
यह कहानी है हरियाणा के झज्जर की पूनम दलाल की जिन्होंने यूपीएससी परीक्षा की तैयारी की और मुश्किल परिस्थितियों में परीक्षा देने पहुंची. पूनम दलाल ने जब यूपीएससी परीक्षा दी तो वह 9 महीने की गर्भवती थी. फिर भी वह परीक्षा देने गई.
पूनम ने 2011 में यूपीएससी परीक्षा दी थी. उस समय उनकी उम्र 30 साल थी और इसके बाद उनके पास इस परीक्षा में बैठने का समय नहीं था. क्योंकि यूपीएससी परीक्षा देने वाले अभ्यर्थी की अधिकतम उम्र 30 साल होनी चाहिए. हालांकि पूनम बहुत खुशकिस्मत निकली, जो उन्हें 2015 में फिर से यूपीएससी परीक्षा देने का मौका मिला. क्योंकि 2015 में यूपीएससी ने यह फैसला किया था कि जिन अभ्यर्थियों ने 2011 में परीक्षा दी थी, वह एक बार फिर से परीक्षा में बैठ सकते हैं.
जब यूपीएससी ने इस बात की घोषणा की तो पूनम की खुशी का ठिकाना नहीं रहा और उन्होंने तैयारी पूरी कर परीक्षा देने की सोच ली. वह परीक्षा में बैठी और पास भी हो गई. हालांकि उस समय वह नौवें महीने की गर्भवती थी और दर्द सहते हुए भी उन्होंने परीक्षा दी. जब पूनम ने यूपीएससी मैंस का एग्जाम दिया था तो उनका बच्चा ढाई महीने का था. अब वह इनकम टैक्स में कमिश्नर के पद पर कार्यरत हैं.
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