मैराथन लेडी की कहानी: पति की जान बचाने के लिए 62 साल की उम्र में नंगे पैर मैराथन दौड़ गई थी लता

हमारे देश में महिलाएं अपने पति की सलामती और रक्षा के लिए कुछ भी करने को तैयार हो जाती हैं. 60 साल की बुजुर्ग महिला लता भगवान करे ने कुछ ऐसा ही किया. लता ने 60 साल की उम्र में साड़ी में नंगे पैर मैराथन दौड़ लगाई और जीत भी हासिल की. लता भगवान करे महाराष्ट्र के बारामती जिले के एक छोटे से गांव की रहने वाली है. वह 68 साल की हो चुकी हैं.

2014 में लता के पति की तबीयत खराब हो गई थी. लता ने अपनी तीनों बेटियों की शादी करवा दी थी और उनके बेटे की भी कोई परमानेंट नौकरी नहीं थी. बेटे की कमाई से घर का खर्च चलता था. लेकिन जब लता के पति की तबीयत खराब हुई तो उन पर मुसीबतों का पहाड़ टूट पड़ा.

डॉक्टरों ने MRI कराने को कहा, जिसके लिए 5000 रुपये की जरूरत थी. लता के पास पैसे नहीं थे. उन्हें समझ नहीं आ रहा था, क्या करें. तभी उन्हें पता चला कि पास के गांव में मैराथन हो रही है और उस दौड़ में पहले स्थान पर आने वाले व्यक्ति को ₹5000 मिलेंगे.

लता को मैराथन के बारे में कुछ भी नहीं पता था. लेकिन उन्होंने दौड़ में हिस्सा लिया. वह साड़ी पहनकर बिना चप्पलों के ही मैराथन में दौड़ी और पहला स्थान प्राप्त किया, जिसके बाद उन्हें अपने पति के इलाज के लिए पैसे मिल गए. लता के पति ठीक हो गए. लेकिन इसके बाद लता ने कई अन्य दौड़ों में हिस्सा लिया. वह कई शील्ड और प्राइस भी जीत चुकी हैं. लता के ऊपर एक मराठी फिल्म भी बनी है, जिसका नाम लता भगवान करे है.

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